हर हाल में माह अप्रैल 2025 तक पूर्ण करें पेयजल योजना – जिलाधिकारी

डीएम ने पेयजल पुनर्गठन योजना का किया निरीक्षण
ओवरहेड टैंक के निर्माण कार्य की गुणवत्ता को परखा, डिस्ट्रीब्यूशन लाइन की ली जानकारी
झांसी। जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने ग्रीष्मकाल के दृष्टिगत पेयजल की आपूर्ति हेतु अमृत कार्यक्रम के अंतर्गत झाँसी पेयजल झांसी पेयजल पुनर्गठन योजना का निरीक्षण किया। उन्होंने माह अप्रैल तक पेयजल आपूर्ति सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।
जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने योजना अंतर्गत आने वाले क्षेत्र की निवासियों को ग्रीष्म काल में पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित कराने के लिए झाँझी पेयजल पुनर्गठन योजना के बबीना वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट का औचक निरीक्षण किया। उन्होंने मौके पर क्लियर वाटर लाइन को और छोटी से छोटी जानकारी प्राप्त की।
जिलाधिकारी ने अमृत कार्यक्रम के अंतर्गत झाँसी पेयजल पुनर्गठन पेयजल योजना का निरीक्षण करते हुए स्पष्ट निर्देश दिए कि योजना का कार्य माह अप्रैल 2025 समयावधि में ही पूर्ण किया जाना सुनिश्चित किया जाए ताकि गर्मी के दौरान क्षेत्र में पेयजल की समस्या ना हो। निरीक्षण के दौरान योजना अंतर्गत वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट के प्लान को देखा और वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट में पानी की टेस्टिंग की जानकारी ली। उन्होंने वाटर टेस्टिंग की विधि के बारे में भी विशेषज्ञ से विधिवत सूचनाएं प्राप्त की। उन्होंने डाली जा रही राइजिंग मेन लाइन कार्य को देखा और सभी कार्य अप्रैल माह में पूर्ण करने के निर्देश दिए। इसके अतिरिक्त उन्होंने डिस्ट्रीबूशन लाइन का भी निरीक्षण किया। उन्होंने डिस्ट्रिब्यूशन लाइन डाले जाने का कार्य तीव्रता के साथ पूर्ण करने के भी निर्देश दिए ताकि भीषण गर्मी में नगर वासियों को पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित की जा सके।
जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने टेस्टिंग पिट का निरीक्षण किया और निर्देश दिए की मानक अनुसार कार्य करना सुनिश्चित करें, लापरवाही किसी भी दशा में बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इसके अतिरिक्त मौके पर अधिशासी अभियंता जल निगम ने बताया कि प्राप्त पाइपों का सैम्पुल लेकर गुणवत्ता की जांच करा ली गई है। गुणवत्ता मानक अनुसार पाई गई। निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने बिजौली सीडब्ल्यूआर एंव परियोजना में बन रहे ओवरहेड टैंक निरीक्षण किया और कार्य की प्रगति को भी देखते हुए कार्य को शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिए। जिलाधिकारी ने झाँसी पेयजल पुनर्गठन योजना का निरीक्षण करते हुए डाली जा रही डिस्ट्रीब्यूशन लाइन का स्थलीय निरीक्षण किया और कार्य की गुणवत्ता को देखा। उन्होंने डिस्ट्रीब्यूशन लाइन की गहराई को भी सत्यापित किया तथा त्वरित गति से कार्य करते हुए उन्होंने संबंधित अधिकारी एवं एजेंसी को माह अप्रैल 2025 तक योजना का कार्य पूर्ण किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि उक्त कार्य में किसी भी तरह की संवेदनहीनता एवं लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। निरीक्षण के दौरान अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व वरुण कुमार पाण्डेय, अधिशासी अभियन्ता जल निगम मुकेश पाल कार्यदाई संस्था के सदस्य एवं अन्य अधिकारी,कर्मचारी उपस्थित रहे।

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झांसी : मांग रहा था गुण्डा टैक्स , पुलिस ने पकड़ा तो चलायी गोली हुआ लंगड़ा , मुठभेड़ में गिरफ्तार

व्यापारी से मांग रहा था पंद्रह लाख की रंगदारी
बालेन्द्र गुप्ता / झांसी। चिरगांव में एक व्यापारी से पंद्रह लाख रुपए की रंगदारी मांगने के आरोप में फरार चल रहे शातिर अपराधी की दिनदहाड़े स्वाट टीम से मुठभेड़ हो गई। जिसमें बदमाश के एक पैर में गोली लगने से वह घायल हो गया। पुलिस टीम ने उसके कब्जे से एक तमंचा कारतूस सहित बिना नंबर की बाइक अपाचे बरामद कर ली। इधर मुठभेड़ की सूचना मिलते ही पुलिस अफसर घटना स्थल की ओर रवाना हो गए।
विवरण के मुताबिक चिरगांव थाना क्षेत्र के डेरा निवासी शातिर अपराधी धीरेंद्र राजपूत पर दर्जनों अपराधिक मामले दर्ज है। उस पर अभी हाल ही में चिरगांव में एक सराफा व्यापारी से पंद्रह लाख की रंगदारी न देने पर हत्या करने के आरोप में मुकदमा दर्ज है। इधर व्यापारी से रंगदारी मांगने का मामला एसएसपी के संज्ञान में आया तो उन्होंने स्वाट ओर संबंधित थाना पुलिस को अपराधी के खिलाफ कठोर कार्यवाही करने ओर गिरफ्तार करने के निर्देश दिए। आज दोपहर एसएसपी के निर्देशन पर स्वाट टीम ओर मोठ थाना पुलिस अपराधी की धर पकड़ में लगी थी तभी मोठ के जंगलों में फरार चल रहे अपराधी वीरेंद्र राजपूत से पुलिस टीम का आमना सामना हो गया। अपराधी ने पुलिस को देख तमंचे से फायर झोंक दिया और भागने लगा। पुलिस ने उसका पीछा करते हुए जबाव में फायरिंग की तो उसके पैर में गोली जा लगी और वह घायल हो गया। पुलिस ने उसे हिरासत में लेकर घायल अवस्था में अस्पताल में भर्ती कराया। वही उसके कब्जे से एक तमंचा कारतूस सहित बिना नंबर की अपाचे बाइक बरामद कर ली है। पुलिस टीम उससे पूछताछ कर रही है।

 

झाँसी : फिर सजने लगी मेडिकल तिराहे पर अवैध बालू की मण्डी , शहर में वाहनों की एन्ट्री है नो एन्ट्री किसी को पता नहीं

हाइवे पर ईट से भरे ट्रक और सर्विस रोड पर बालू से भरे डम्फरों का कब्जा

ट्रैफिक पुलिस चौराहे पर पुरे दिन देखती है तमाशा

बालू के डम्फरों में नम्बर प्लेट न होने बावजूद भी नहीं करते चालान

बालेन्द्र गुप्ता / झाँसी। शहर के बगल में मेडिकल तिराहे के पास हाईवे पर सुबह-सुबह ईट-बालू की अवैध मंडी सजती है। ट्रक और ट्रैक्टर-ट्रॉलियों की कतारें हाईवे की एक साइड को कब्जे में कर लेती हैं। लिंक रोड से तो लोग गुजरना ही भूल गये हैं क्योकि लिंक रोड पर बालू से भरे डम्फर खड़े हो जाते है। आश्चर्य ये है कि इस अवैध मंडी पर जिम्मेदार विभागों के अधिकारियों की नजर या तो पड़ती नहीं, या फिर नजरें फेर ली जाती हैं।
मालुम हो कि अगर आप नेशनल हाईवे पर कानपुर से ग्वालियर या शिवपुरी जा रहे है और जो लोग मेडिकल से पैरामेडिकल जा रहे है तो कम से कम तीन स्थानों पर तो सावधानी बरतनी ही पड़ेगी। क्योकि मेडिकल तिराहे पर और पैरामेडिकल लिंक रोड तथा हाइवे की दूसरी तरफ वाहन ऐसे खड़े रहते है कि दुर्घटनाएं होती ही रहती है ।
यहां पर जनपद के सभी बालू घाटों से बालू के डम्फर आते है और कानपुर देहात व कानपुर से ईट से भरे ट्रक रात बारह बजे के बाद लिंक रोड और हाईवे पर ट्रक खड़े हो जाते हैं, जबकि दूसरी दिशा में लिंक रोड पर बालू से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉलियों का कब्जा रहता है। सुबह पांच बजे से इनकी बोली शुरू हो जाती है, जो करीब नौ बजे तक लगती है।

धड़ल्ले से चल रहा अवैध गिट्टी और बालू का कारोबार
शहर में खुलेआम सड़क पर अवैध बालू व गिट्टी का कारोबार किया जा रहा है, इसके कारण सड़कों पर जाम लगा रहता है। लेकिन प्रशासन इसको अनदेखा कर रहा है। कुछ लोग बिना पंजीयन कराए ही अवैध बालू और खनन के कारोबार को खुलेआम संचालित कर रहे हैं। इससे खनिज के राजस्व का नुकसान हो रहा है।
इससे आम लोगों केे धूल खाकर परेशान होना पड़ रहा है। विभाग को राजस्व की हानि हो रही है। इसके बाद भी जिम्मेदार अधिकारी इसे अनदेखा कर रहे हैं। आलम यह है कि शहर में दर्जनों लोग अवैध बालू और गिट्टी का कारोबार खुलेआम कर रहे हैं। यह कारोबार शहर में सड़क किनारे व विभिन्न मोहल्लों में दीवारों की आड़ में चल रहा है। कई स्थानों पर सड़क किनारे संचालित होने से यातायात व्यवस्था बिगड़ रही है। सड़क किनारे टाल खुलने से बालू और गिट्टी ट्रैक्टर में लोड होने से यह ट्रैक्टर सड़क पर खड़े हो रहे हैं, जिससे वाहनों को ओवरटेक करने में परेशानी हो रही है। वहीं, मोहल्लों में बालू और गिट्टी लोडिंग और अनलोडिंग होने से धूल उड़ती है, जो मकानों में जाती है। इससे बीमारी होने का खतरा बना रहता है। विभिन्न मोहल्लों में बालू और गिट्टी से लदे भारी वाहनों के प्रवेश से आवाजाही में लोगों को परेशानी हो रही है। इन कारोबारियों के पास यह कारोबार करने का कोई रजिस्टेशन नहीं है।

शहर में वाहनों की एन्ट्री है नो एन्ट्री किसी को पता नहीं
शहर में नो इंट्री का कोई इंतजाम नहीं है। ट्रैफिक पुलिस को बाय-बाय बोलते हुए बड़े वाहन धड़ल्ले से प्रवेश कर रहे हैं। इससे शहर में रोज जाम लग रहा है। जाम इस कदर कि बसस्टैंड राहगीरों को इतनी समस्या होती है राहगीर वहां से आधा घंटा से अधिक समय में निकल पाते है। रोडवेज के अलावा प्राइवेट बसें, ट्रक, ट्राला आदि बड़े वाहनों की आवाजाही दिन भर चलती है। हालांकि यातायात व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए ट्रैफिक पुलिस की ड्यूटी लगती है, पर वाहनों की आवाजाही पुलिसकर्मियों के आंखों के सामने से होती रहती है। शहर में एक दर्जन से अधिक स्थानों पर चालक वाहनों को रोककर सवारियां भरते नजर आते हैं। चालक जहां चाहते हैं, वही स्थल स्टैंड बन जाता है।

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